कानूनी पेशे की पवित्रता बनाए रखने की दिशा में एक सख्त कदम उठाते हुए, बार काउंसिल ऑफ इंडिया (BCI) ने दिल्ली बार काउंसिल में पंजीकृत एक वकील का नाम तत्काल प्रभाव से हटाने (Removal) का आदेश दिया है। 17 नवंबर, 2025 को लिए गए इस निर्णय में, बीसीआई ने न केवल फर्जी डिग्री के आधार पर हुए नामांकन को रद्द किया, बल्कि सिस्टम के भीतर चल रहे एक “गंभीर षड्यंत्र” को भी उजागर किया है, जिसमें बार काउंसिल के ही कर्मचारी और दलाल शामिल थे।

बीसीआई की जनरल काउंसिल ने अपनी अनुशासनात्मक कार्यवाही (संख्या 47/2025) में उप-समिति की रिपोर्ट को स्वीकार करते हुए वकील जे. वसन्थन (नामांकन संख्या D/81/2023) के नामांकन को शुरू से ही शून्य (Void ab initio) घोषित कर दिया है।

क्या है पूरा मामला?

यह मामला तब सामने आया जब बार काउंसिल ऑफ दिल्ली (BCD) ने एडवोकेट्स एक्ट, 1961 की धारा 26(1) के तहत बीसीआई को एक संदर्भ भेजा। जांच

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